साहित्य लहर

कविता : मीरा

मीरा… मथुरा में कृष्ण को तुम्हारी याद आती सुबह यमुना की धारा नगर के किनारे अविरल बहती प्रेम का गीत गाती तुम्हारे प्रेम भक्ति वैराग्य की कहानी सदियों से ढूंढ़ते वन – वन विचरण करते धरती के सारे ज्ञानी… #राजीव कुमार झा

कृष्ण का प्यार पाकर
तुम यह सुख
जीवन भर भुला नहीं पाती
उन्हें कभी कुछ भी नहीं
बताती
मथुरा में कृष्ण को तुम्हारी
याद आती
सुबह यमुना की धारा
नगर के किनारे

अविरल बहती
प्रेम का गीत गाती
तुम्हारे प्रेम भक्ति
वैराग्य की कहानी
सदियों से ढूंढ़ते

वन – वन विचरण करते
धरती के सारे ज्ञानी
ईश्वर के ध्यानी
अरी प्रिया!
द्रौपदी की मुस्कान
गीता में कृष्ण की वाणी
तुम महलों की रानी

कविता : राधिका


मीरा... मथुरा में कृष्ण को तुम्हारी याद आती सुबह यमुना की धारा नगर के किनारे अविरल बहती प्रेम का गीत गाती तुम्हारे प्रेम भक्ति वैराग्य की कहानी सदियों से ढूंढ़ते वन - वन विचरण करते धरती के सारे ज्ञानी... #राजीव कुमार झा

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