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गायब हुई शीना बोरा की कथित हड्डियां, मामले में नया मोड़

गायब हुई शीना बोरा की कथित हड्डियां, मामले में नया मोड़… आवश्यक लोगों से फिर से पूछताछ की जानी चाहिए, क्योंकि डीएनए विशेषज्ञ को डीएनए रिपोर्ट बनाने के लिए मुद्रित निर्देशांक को क्यों काटना पड़ा और उन्हें क्यों बदलना पड़ा।

शीना बोरा हत्याकांड मामले में एक बड़ी लापरवाही सामने आयी है। महाराष्ट्र के रायगढ़ के पेन गांव के जंगल से पुलिस ने जो हड्डियां बरामद की थी, जिन्हें उन्होंने शीना का बताया था, वो गायब हो गयी हैं। अभियोजन पक्ष ने बृहस्पतिवार को अदालत को इस बात की जानकारी दी थी। अभियोजन पक्ष ने सीबीआई अदालत को बताया कि शीना बोरा की जिन कथित हड्डियों और अवशेषों को महाराष्ट्र के रायगढ़ में पुलिस द्वारा बरामद किया गया था वह गहन खोज के बावजूद नहीं मिल रहे हैं।

मुंबई के भायखला इलाके में सरकारी जेजे अस्पताल के एक फॉरेंसिक विशेषज्ञ चिकित्सक की गवाही के दौरान बृहस्पतिवार को अभियोजन पक्ष ने यह खुलासा किया। अदालत फॉरेंसिक विशेषज्ञ की गवाही दर्ज कर रही है, जिन्होंने 2012 में पुलिस द्वारा उस स्थान से बरामद हड्डियों की पहली बार जांच की थी, जहां शीना बोरा के जले हुए शरीर को दफनाया गया था।

शीना की कथित हड्डियों के गायब होने पर मामले की मुख्य आरोपी इंद्राणी मुखर्जी ने प्रतिक्रिया दी है। इंद्राणी मुखर्जी ने कहा, ‘मेरे निजी विचार से, मुझे लगता है कि 2012 मई में कभी भी कोई कंकाल नहीं मिला। यह सब एक मनगढ़ंत कहानी थी क्योंकि इसे एक्सेस करना बहुत मुश्किल है, सिवाय इसके कि सीबीआई जैसी प्रमुख एजेंसी की हिरासत से, इस तरह के महत्वपूर्ण सबूत गायब हो सकते हैं। इसलिए मुझे लगता है कि सबूत कभी मौजूद ही नहीं थे। और कई तरह की एजेंसियों और संगठनों द्वारा इस हेरफेर, गड़बड़ जांच के कारण और मुझे लगता है कि जांच खुद अधूरी थी और हर कोई मुझ पर आरोप लगाने की जल्दी में था क्योंकि उनके पास समय नहीं था।’

उन्होंने आगे कहा, ‘आवश्यक लोगों से फिर से पूछताछ की जानी चाहिए, क्योंकि डीएनए विशेषज्ञ को डीएनए रिपोर्ट बनाने के लिए मुद्रित निर्देशांक को क्यों काटना पड़ा और उन्हें क्यों बदलना पड़ा। उसे हिरासत में लेकर पूछताछ की जानी चाहिए। मुझे बहुत दृढ़ता से लगता है कि चूंकि राहुल मुखर्जी मेरी बेटी का मंगेतर होने का दावा करता है और उसका दावा है कि उसने उसे आखिरी बार देखा था, मुझे लगता है कि उसे हिरासत में लेकर पूछताछ की जानी चाहिए।’

24 वर्षीय शीना बोरा की कथित तौर पर अप्रैल 2012 में हत्या कर दी गई थी। शीना की हत्या का मामला 2015 में प्रकाश में आया था। बोरा की माँ इंद्राणी मुखर्जी को इस हत्या मामले में मुख्य आरोपी बनाया गया था। बता दें, इंद्राणी इस समय जमानत पर बाहर हैं। इंद्राणी के वकील रंजीत सांगले ने शनिवार को केंद्रीय एजेंसी की इस लापरवाही को ‘बड़ी भूल’ बताया और इसका ज्यादा से ज्यादा लाभ उठाने की बात कही।

उन्होंने कहा, ‘अभियोजन पक्ष के दृष्टिकोण से मुझे लगता है कि इससे अभियोजन पक्ष के मामले में चांद के गड्ढे जितना बड़ा छेद हो गया है। इससे हमें जो भी कानूनी लाभ मिलेगा, हम उसका लाभ उठाएंगे। सीबीआई केंद्र सरकार की एक अत्यंत सतर्क, जिम्मेदार और प्रमुख स्वतंत्र जांच एजेंसी है।’ बता दें, सीबीआई अदालत ने मामले में अगली सुनवाई के लिए 27 जून की तारीख निर्धारित की है।

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गायब हुई शीना बोरा की कथित हड्डियां, मामले में नया मोड़... आवश्यक लोगों से फिर से पूछताछ की जानी चाहिए, क्योंकि डीएनए विशेषज्ञ को डीएनए रिपोर्ट बनाने के लिए मुद्रित निर्देशांक को क्यों काटना पड़ा और उन्हें क्यों बदलना पड़ा।

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