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इलाज करते हो या हम करें तुम्हारा इलाज… डॉक्टर को दिखाई ने पिस्टल

दून अस्पताल के एमएस डॉ. अनुराग अग्रवाल ने बताया कि अस्पताल में इस तरह की घटनाएं बढ़ गई हैं। इस पर कड़ा कदम उठाया जाएगा। इसके लिए पुलिस से भी सहयोग मांगा गया है। एक पुलिसकर्मी अस्पताल में 24 घंटे रहे, ताकि किसी तरह की अनहोनी की आशंका न हो।

देहरादून।इलाज करते हो या हम करें तुम्हारा इलाज़…। फिल्मी अंदाज में दो युवकों ने दून अस्पताल की इमरजेंसी में डॉक्टर के माथे पर पिस्तौल लगाकर धमकी दे डाली। घबराए डॉक्टर ने शोर मचाया तो अस्पताल में मरीज और स्टाफ इकट्ठा हो गया। इसी बीच पता चला कि पिस्तौल नकली है तो युवकों को लोगों ने दबोच लिया, लेकिन एक युवक वहां से भागने सफल हो गया। लोगों ने दूसरे को पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया। कुछ देर बाद पुलिस ने दूसरे को भी धर दबोचा। युवकों की इस दुस्साहस भारी घटना से डॉक्टरों में रोष व्याप्त हो गया।

उन्होंने कुछ देर बाद कार्य बहिष्कार की घोषणा भी कर डाली। इस दौरान करीब दो घंटे तक मरीजों को दिक्कतों का सामना भी करना पड़ा। पुलिस जांच में पता चला कि पिस्तौल सिगरेट जलाने वाला एक लाइटर था।इमरजेंसी में तैनात डॉ. मुहम्मद आमिर खान ने बताया कि वह शाम सात बजे के आसपास इमरजेंसी के अंदरूनी कक्ष में मरीज को देख रहे थे। उनके साथ और चिकित्सक भी थे। इस बीच दो युवक आए और इलाज करने के लिए कहने लगे।

डॉ. आमिर ने उन्हें पर्चा बनाकर लाइन में आने को कहा तो आरोपियों ने अभद्र भाषा का प्रयोग किया और धमकाने लगे। इसके बाद एक आरोपी ने पिस्टल दिखाई। आनन फानन में डॉ. आमिर गार्ड से मदद मांगने पहुंचे। देखा कि गार्ड कक्ष के बाहर मौजूद ही नहीं था। इस बीच डॉक्टरों ने एक आरोपी को पकड़ लिया, लेकिन पिस्टल दिखाने वाला आरोपी भाग निकला।

मामले की शिकायत अधिकारियों से की गई। साथ ही सभी डॉक्टरों और कर्मचारियों ने कार्य बहिष्कार का ऐलान कर दिया। इस कारण दो घंटे तक इमरजेंसी बाधित रही। कार्य बहिष्कार तभी समाप्त हुआ जब पिस्टल दिखाने वाला आरोपी गिरफ्तार हो गए। एसएचओ शहर कोतवाली कैलाश चंद भट्ट ने बताया कि दोनों आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है। दोनों आरोपी नशे की हालत में थे।

दून अस्पताल के एमएस डॉ. अनुराग अग्रवाल ने बताया कि अस्पताल में इस तरह की घटनाएं बढ़ गई हैं। इस पर कड़ा कदम उठाया जाएगा। इसके लिए पुलिस से भी सहयोग मांगा गया है। एक पुलिसकर्मी अस्पताल में 24 घंटे रहे, ताकि किसी तरह की अनहोनी की आशंका न हो।


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