साहित्य लहर
एक राष्ट्रभाषा हो हिन्दी
सुव्रत दे
सम्बलपुर, उड़ीसा
एक राष्ट्रभाषा हो हिन्दी
सबका सपना हो हिन्दी;
हिन्दी बिना चले ना अब
हिन्दी में ही हो काम सब।
एक सुंदर भाषा है हिन्दी
सहज, सरल भाषा है हिन्दी;
राष्ट्रभाषा, राजभाषा है हिन्दी
जन-जन की भाषा है हिन्दी।
आओ करें हिन्दी का गुणगान
हिन्दी है हमारा राष्ट्रीय अभिमान;
हिन्दुस्तान की है यह शान
इस पर लुटा दो अपनी जान ।
हिन्दी है अपनी, अंग्रेजी पराई
सौतेली सदा सौतेली है भाई;
तोड़ अब जंजीर अंग्रेजी का
पहन लो माला हिन्दी का ।
एक अपनी भाषा है हिन्दी
सबकी प्यारी भाषा है हिन्दी;
सबकी न्यारी भाषा है हिन्दी
आम-भाषा, सम्पर्क भाषा है हिन्दी ।
एक राष्ट्रभाषा हो हिन्दी
सबका सपना हो हिन्दी;
हिन्दी बिना चले ना अब
हिन्दी में ही हो काम सब ।