जानकारीफीचर

अगर आपके भी बाल झड रहे हैं तो एक्सपर्ट से जानें उसे रोकने का तरीका

अगर आपके भी बाल झड रहे हैं तो एक्सपर्ट से जानें उसे रोकने का तरीका… बालों को कटवाने से भी हेयर फॉल का कुछ फर्क नहीं पड़ता। हेयर फॉल स्कैल्प से जुड़ा है उसका बालों की लम्बाई से कोई सम्बन्ध नहीं है। महिलाओं में पुरुषों के मुकाबले डायहाइड्रोटेस्टोस्टेरोन (DHT Receptors) कम होते हैं जिससे उनमे ये परेशानी होने की संभावना कम होती है।

हेयर फॉल आज के समय में एक आम परेशानी बन गयी है जिससे सिर्फ पुरुष ही नहीं महिलायें भी जूझ रही हैं। इस समस्या के पीछे लम्बी बीमारी, हार्मोनल परिवर्तन, तनाव, रूसी से लेकर बढती उम्र तक कईं कारण हैं। इसी समस्या पर हमारे शो आस्क दी एक्सपर्ट में हमने बात की डॉक्टर बनानी चौधरी से जो मुंबई के Jaslok Hospital and Research Centre और Sir HN Reliance Foundation Hospital and Research Centre में कंसलटेंट डर्माटोलॉजिस्ट हैं। उनके पास जिर्राट्रिक केर और टॉपिक डर्मिटाइटिस में 15 सालों का एक्सपीरियंस भी है। तो आइये जानते हैं कि इस समस्या पर उन्होंने विस्तार से क्या बताया-

अगर हम देखें तो हेयर फॉल प्युबर्टल ऐज से शुरू होकर 60-70 वर्ष की आयु तक रहते हैं जिसे हम नॉर्मल हेयर फॉल कहते हैं। और बहुत बार असामान्य हेयर फॉल भी देखने को मिलता है जो बच्चों में होता है जो स्किन की समस्या होने के कारण होता है। हेयर फॉल के कारण हर अवस्था के हिसाब से अलग होते हैं, युवाओं को सबसे ज्यादा बाल झड़ने के समस्या डैंड्रफ के कारण होती है। मिडिल ऐज में विटामिन, थाइरोइड, आयरन और मिनरल्स की कमी से बाल झड़ते हैं। वृधावस्था में यह आम तौर पर महिलाओं में राजोवृति के कारण और पुरुषों में डायबिटीज के कारण होते हैं। इसके साथ साथ अगर किसी को लम्बे समय तक बुखार हुआ हो जैसे डेंगू, टाइफाइड, या मलेरिया तो उस स्थिति में भी बीमारी ठीक होने के 3 महीने बाद बाल झड़ते हैं।

सफ़ेद हुए बालों को काला नहीं किया जा सकता लेकिन हां झड़ते बालों को रोका और फिर से उगाया जा सकता है। बालों को झड़ने से रोकने के लिए हमें सबसे पहले हेयर फॉल का कारण जानना होता है ताकि उसी हिसाब से ट्रीटमेंट किया जा सके। हेयर फॉल के समय में लोग शैम्पू करना छोड़ देते हैं लेकिन हम मेडिकेटिड शैम्पू का इस्तेमाल कर स्कैल्प की देखभाल करने और उसे साफ़ रखने की सलाह देते हैं ताकि आपके बालों की जड़ें मजबूत हो सकें।

पुरुषों में अगर उनके पिता या फिर मामा के बाल कम हैं या ज्यादा झड़ते हैं तो वह पैटर्न आगे आपके साथ भी होगा लेकिन वहीँ महिलाओं में उनकी माँ के बाल अगर कम और हल्के हैं तो उसका असर उन पर आता है। इसके अलावा पुरुषों में डायहाइड्रोटेस्टोस्टेरोन (DHT Receptors) ज्यादा होते हैं जिससे उनके बालों के झड़ने या गंजापन होने की संभावना महिलाओं के मुकाबले में ज्यादा होती है। इसके अलावा महिलाओं में थाइरोइड, पीसीओडी और मीनोपॉज के कारण भी बाल हल्के और झड़ने लगते हैं।

मौसम में बदलाव के अलावा आपके स्कैल्प पर कितना पसीना आता है, वह आपके बालों के झड़ने के लिए ज़िम्मेदार होता है। और अगर देखा जाए तो मानसून के मौसम में सबसे ज्यादा पसीना आता है और इस मौसम में नमी के कारण हमारा पसीना सूखता नहीं है इसीलिए मानसून में सबसे ज्यादा हेयर फॉल की समस्या आती है। अगर पेशेंट को स्कैल्प की कोई परेशानी नहीं है तो शैम्पू बदलने से हेयर फॉल रुक जाता है क्योंकि कभी कभी पेशेंट अपने बालों के मुकाबले ज्यादा ड्राई शैम्पू का इस्तेमाल कर रहा होता है जिससे बाल ज्यादा टूटने और झड़ने लगते हैं। लेकिन स्कैल्प की दिक्कत होने पर शैम्पू में बदलाव से फर्क नहीं पड़ता।



ऑयलिंग बालों के लिए ज़रूरी है और इसे आप बालों पर लगायेंगे तो वह आपके बालों को कंडीशन करेगा लेकिन अगर आप इसे स्कैल्प पर 30 मिनट से ज्यादा के लिए इस्तेमाल करेंगे तो उससे नुक्सान होगा क्योंकि वह तेल बालों की जड़ों के आसपास एक लेयर बना लेगा जिससे बालों की जड़ें कमजोर होंगी। इसलिए कभी भी रातभर के लिए स्कैल्प पर तेल लगाकर ना सोएं। बालों को किसी भी तरह से रखें चाहें खोल कर रखें या बांधकर उससे बालों के झड़ने का कोई लेना देना नहीं है।



बालों को कटवाने से भी हेयर फॉल का कुछ फर्क नहीं पड़ता। हेयर फॉल स्कैल्प से जुड़ा है उसका बालों की लम्बाई से कोई सम्बन्ध नहीं है। महिलाओं में पुरुषों के मुकाबले डायहाइड्रोटेस्टोस्टेरोन (DHT Receptors) कम होते हैं जिससे उनमे ये परेशानी होने की संभावना कम होती है। मर्दों के मुकाबले में महिलाओं में हेयर फाल होने के बावजूद गंजापन होना बहुत कम होता है। क्या हेयर फॉल सीधे हमारी डाइट से जुड़ा है या फिर इसे रोकने के लिए हमें अपने लाइफस्टाइल में भी बदलाव लाने होंगे?



अगर आपका हेयर फॉल न्यूट्रीशन की कमी से हो रहा है तो आप अपनी डाइट में विटामिन बी12, बी3, आयरन, कैल्शियम शामिल करेंगे तो आपका हेयर फॉल कम हो जाएगा। लेकिन अगर बालों का झड़ना किसी बीमारी जैसे थाइरोइड या पीसीओडी जैसी किसी समस्या के कारण है तो आपको लाइफस्टाइल में भी बदलाव करने होंगे। सोशल मीडिया पर दिखाते हैं कि सिल्क के सराहने का इस्तेमाल भी हेयर फॉल रोकता है, क्या यह सच है? नहीं यह बिलकुल एक मिथ्या है ऐसा करने से कभी भी हेयर फॉल रुकता नहीं है।



अगर आपके बाल ड्राई हैं तो ऐसे में बार बार कंघी करने से वह टूटेंगे लेकिन आपने कंडीशनर या सीरम लगाया है तो कंघी से बाल नहीं टूटेंगे। और कभी भी बालों को सुलझाने के लिए पतली कंघी का इस्तेमाल नहीं करें। किसी भी हेयर ट्रीटमेंट में अगर प्रोडक्ट आपके स्कैल्प पर इस्तेमाल नहीं होता तो वह कभी नुक्सान नहीं करेगा। रेबोंडिंग के अलावा बालों की जड़ों को छोड़कर कोई भी स्मूथनिंग, केराटीन या प्रोटीन ट्रीटमेंट आप करवा सकते हैं। हेयर कलर भी बालों की जड़ों पर कभी भी इस्तेमाल नहीं करना चाहिए।

बारिश के मौसम में बेहद खतरनाक हो जाते हैं ये झरनें


अगर आपके भी बाल झड रहे हैं तो एक्सपर्ट से जानें उसे रोकने का तरीका... बालों को कटवाने से भी हेयर फॉल का कुछ फर्क नहीं पड़ता। हेयर फॉल स्कैल्प से जुड़ा है उसका बालों की लम्बाई से कोई सम्बन्ध नहीं है। महिलाओं में पुरुषों के मुकाबले डायहाइड्रोटेस्टोस्टेरोन (DHT Receptors) कम होते हैं जिससे उनमे ये परेशानी होने की संभावना कम होती है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
error: Devbhoomi Samachar
Verified by MonsterInsights