हिन्दी दिवस पर डॉ. रीना को मुक्ताई राष्ट्रीय हिन्दी गौरव सम्मान
हिन्दी भाषा ही देश की उन्नति का अद्वितीय सोपान है। सभी भाषाओं के साथ कदमताल मिलाकर उत्कृष्ट अभिव्यक्ति की क्षमता हिन्दी में निहित है। इसी हिन्दी भाषा के क्षेत्र में अग्रणी कवयित्री एवं लेखिका डॉ. रीना रवि मालपानी ने 170 से अधिक कविताएं एवं 60 से अधिक लेख लगभग सभी राष्ट्रीय, सामाजिक, धार्मिक, प्रेरणादायी, जागरूकता संबंधी विषयों पर सृजित किए है।
समाज के उन्नयन, धर्म और संस्कृति, हिन्दी भाषा, साहित्य के क्षेत्र में डॉ. रीना रवि मालपानी के द्वारा किए गए उत्कृष्ट एवं प्रेरणादायी लेखन के लिए उन्हे 14 सितंबर 2021 को हिन्दी दिवस के अवसर पर किरण बहुउद्देशीय सेवा संस्था, वर्धा (महाराष्ट्र) की ओर से “मुक्ताई राष्ट्रीय हिन्दी गौरव सम्मान” से सम्मानित किया गया। मूलतः डॉ. रीना रवि मालपानी रसायन शास्त्र की व्याख्याता रही है और उन्होने अनेक संस्थाओं में अध्यापन कार्य किया है, परंतु मातृभाषा के प्रति प्रेम ने उन्हें लेखन की ओर प्रेरित किया।
170 से अधिक कविताएं एवं 60 से अधिक लेख लगभग सभी राष्ट्रीय, सामाजिक, धार्मिक, प्रेरणादायी, जागरूकता संबंधी विषयों पर सृजित
उनकी कविताओं का संग्रह “मेरी केमिस्ट्री से साहित्य की साधना” पुस्तक के रूप में प्रकाशित हो चुका है। ज्ञात हो कि इसके पूर्व भी उन्हें “विश्व हिन्दी लेखिका मंच” द्वारा वर्ष 2020 के “अमृता प्रीतम कवयित्री सम्मान” एवं “राष्ट्रीय नारी सशक्तिकरण संघ” द्वारा वर्ष 2021 के “नारी रत्न सम्मान” से सम्मानित किया जा चुका है। 15 अगस्त 2021 की पूर्व संध्या पर “भारत डायरी,पुणे” द्वारा अपने 25वें स्थापना दिवस समारोह के अवसर पर इनके श्रेष्ठ लेखन के लिए सम्मानित किया जा चुका है।
भारतीय भाषा मंच द्वारा आयोजित अखिल विश्व शोधपरक निबंध प्रतियोगिता में डॉ. रीना को प्रथम स्थान से पुरस्कृत किया गया था, इसके अतिरिक्त “अभिव्यक्ति विचार मंच” द्वारा श्रेष्ठ काव्य लेखन के लिए प्रथम पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। डॉ. रीना रवि मालपानी ने लेखन यात्रा अपने 03 माह के पुत्र के साथ प्रारम्भ की थी जोकि अभी भी अनवरत जारी है। वे आगे भी हिन्दी भाषा के उन्नयन हेतु प्रयासरत रहेंगी।
प्रेषक: रवि मालपानी, सहायक लेखा अधिकारी, रक्षा मंत्रालय (वित्त) // 9039551172