अपराधउत्तराखण्ड समाचार

रामनगर में किशोरी से दुष्कर्म के दोषी को दस साल की सजा

मगर जांच के लिए देहरादून भेजे गए सैंपल की रिपोर्ट में आरोपी और पीड़िता का डीएनए मैच हुआ था। इसके बाद आठ गवाह इस मामले में अदालत में पेश किए गए। इसमें एफएसएल में जांच करने वाले डा. मनोज अग्रवाल भी शामिल थे। 

नैनीताल। रामनगर में एक किशोरी से दुष्कर्म के मामले में पॉक्सो कोर्ट ने आरोप साबित होने पर अभियुक्त को 10 साल सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही 20 हजार रुपये जुर्माना भी लगाया है। अक्तूबर 2020 में रामनगर की किशोरी के साथ नावेद ने संबंध बनाए थे। किशोरी के भाई व अन्य लोगों ने उसे कमरे से पकड़ा था। रामनगर थाने में उसके खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ।

विशेष न्यायाधीश पॉक्सो कोर्ट नंदन सिंह राणा ने इस मामले में सजा सुनाई। सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता नवीन चंद्र जोशी ने बताया कि 11 अक्तूबर 2020 को यह घटना हुई थी। इसके बाद उसी दिन शाम को पीड़िता का मेडिकल भी किया गया था। मामले की जांच कर रही एसआई बबीता मेहरा ने सभी सैंपल जांच के लिए एफएसएल देहरादून को भेजे थे। मगर इस बीच पीडि़ता और उसे पिता गवाही के दौरान आरोपों से मुकर गए।

मगर जांच के लिए देहरादून भेजे गए सैंपल की रिपोर्ट में आरोपी और पीड़िता का डीएनए मैच हुआ था। इसके बाद आठ गवाह इस मामले में अदालत में पेश किए गए। इसमें एफएसएल में जांच करने वाले डा. मनोज अग्रवाल भी शामिल थे। आरोप साबित होने के बाद शुक्रवार को इस मामले में सजा सुनाई गई है। इसमें आरोपी को 10 साल की सजा और 20 हजार रुपये जुर्माना की सजा दी गई है।


Advertisement… 


Advertisement… 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
error: Devbhoomi Samachar
Verified by MonsterInsights