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रुद्रपुर में दुकान विवाद पर ताबड़तोड़ फायरिंग, पिता-पुत्र की हत्या

रुद्रपुर। सुरेंद्र सिंह संधू उर्फ हनी की आंखों के सामने बार-बार पिता और छोटे भाई की हत्या का मंजर घूम रहा है। बताया कि सीने में गोली लगने से उनका छोटा भाई निढाल होकर जमीन पर गिर पड़ा, जबकि पिता को उसने 15 मिनट तक तड़पते देखा। सोमवार को गल्ला मंडी में हुए गोलीकांड में बच निकले सुरेंद्र सिंह संधू उर्फ हनी ने आपबीती बयां की। उन्होंने कहा कि अंदेशा भी नहीं था कि अवैध कब्जा करने के लिए आए लोगों के पास असलहे भी थे। उन्होंने भाई के बाद पिता को गोली मारी और फिर उन पर भी फायर किया था। अगर जान बचाकर नहीं भागता तो आज वह भी जिंदा नहीं होता। वहां दो भाइयों के अलावा करीब 12 से 15 लोग मौजूद थे। कई लोगों ने तो चेहरे ढके हुए थे।

हनी ने बताया कि गोलीकांड करने के बाद वे भागना शुरू हो गए थे। पूरी तैयारी के लिए सभी लोग वहां पहुंचे थे। दुकान को जेसीबी से तोड़कर सामान ले जाने के लिए ट्रैक्टर-ट्रॉली भी लाई गई थी। कहा कि उन्होंने दुकान नीलामी में वैध प्रक्रिया से खरीदी थी। लेकिन दूसरा पक्ष उन पर पंचायत करने का दबाव बना रहा था और उन्होंने इन्कार कर दिया था। कहा कि आरोपियों ने 15 से 20 दिन पहले अदालत परिसर में दुकान नहीं छोड़ने पर गंभीर अंजाम भुगतने की धमकी दी थी। उन्होंने इस बात का अंदेशा नहीं था कि ये लोग दुकान की खातिर उनके पिता और भाई की जान ले लेंगे।

गोलीकांड में जान गंवाने वाले गुरमेज सिंह कृषि यंत्रों की मरम्मत भी करते थे। उन्होंने मुख्य बाजार में एक दुकान में दस साल तक काम किया था। सारी बारीकियां समझने के बाद उन्होंने गल्ला मंडी में किराये पर दुकान ली थी और दो बेटों के साथ उसका संचालन कर रहे थे। उनका परिवार कई साल पहले लुधियाना से आया था। घटना की सूचना मिलने पर लुधियाना सहित अन्य जगहों से रिश्तेदारों के पहुंचने लगे हैं। जानकारी के अनुसार मनप्रीत सिंह अविवाहित था और सुरेंद्र सिंह की भी शादी नहीं हुई है।

दोहरे हत्याकांड की वजह बनी दुकान पर अवैध कब्जा करने का ठेका दिया गया था। बताया जा रहा है कि आपराधिक प्रवृत्ति के व्यक्ति ने रुद्रपुर और बिलासपुर से लोगों को बुलाया था। उनकी योजना दुकान का सामान जब्त कर विवादित करने की थी लेकिन गुरमेज और परिवार ने साजिश को नाकाम कर दिया। उन्होंने मुखर विरोध किया तो गुरमेज और मनप्रीत को जान गंवानी पड़ी। पुलिस सभी लोगों को पकड़ने में जुटी है। गल्ला मंडी में रविवार देर रात अपनी दुकान पर हो रहे अवैध कब्जे का विरोध करने पर पिता-पुत्र की गोली मारकर हत्या कर दी गई। हमलावरों ने बड़े बेटे पर भी गोली चलाई लेकिन उसने भागकर अपनी जान बचा ली। दोहरे हत्याकांड की सूचना पर पुलिस और फोरेंसिक टीम ने घटनास्थल पर पहुंचकर साक्ष्य जुटाए। मामले में दो नामजद सहित अज्ञात हमलावरों पर केस दर्ज किया गया है।

जानकारी के अनुसार ईश्वर कॉलोनी निवासी गुरमेज सिंह संधू (62) की गल्ला मंडी में लुधियाना एग्रो ट्रेडर्स नाम से दुकान है। यह दुकान उन्होंने आठ महीने पहले बैंक की नीलामी में खरीदी थी। रविवार रात करीब दो बजे उन्हें दुकान पर अवैध कब्जा किए जाने की सूचना मिली थी। वे अपने छोटे बेटे मनप्रीत सिंह (28) के साथ बाइक पर दुकान की तरफ निकल गए।पीछे-पीछे बड़ा बेटा सुरेंद्र सिंह उर्फ हनी भी स्कूटी से निकला था। जब गुरमेज सिंह और मनप्रीत दुकान पर पहुंचे तो जेसीबी से दुकान की दीवार तोड़कर कब्जे की कोशिश की जा रही थी। उन्होंने दीवार ढहाने वालों को रोकना चाहा तो आरोपियों ने उन पर हमला कर दिया।

सुरेंद्र के अनुसार दुकान पर कब्जा करने की कोशिश कर रहे लोगों ने उनके भाई मनप्रीत की छाती और पिता गुरमेज के पैर पर गोली मार दी। बदमाशों ने उन पर भी फायर किया लेकिन उन्होंने भागकर अपनी जान बचाई और पुलिस को वारदात की सूचना दी। दोनों घायलों को जिला अस्पताल ले जाया गया, जहां चिकित्सक ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। पुलिस ने शवों को पोस्टमार्टम के लिए मोर्चरी भेज दिया है। गोलीकांड के बाद हमलावर भाग निकले।

सूचना पर कोतवाली पुलिस मौके पर पहुंची और घटनास्थल के आसपास लगे सीसीटीवी खंगालने में जुट गई। एसएसपी मणिकांत मिश्रा, एसपी सिटी उत्तम सिंह नेगी और सीओ प्रशांत कुमार ने भी घटनास्थल का मुआयना कर अधीनस्थों से जानकारी ली। पुलिस ने मृतक के बड़े बेटे सुरेंद्र सिंह की तहरीर पर मॉडल कॉलोनी निवासी दो भाइयों दिनेश सलूजा और अवधेश सलूजा के अलावा 10 – 15 अज्ञात लोगों पर केस दर्ज किया है। दोहरे हत्याकांड में 32 बोर की पिस्टल का इस्तेमाल हुआ है। एसपी सिटी की अगुवाई में चार टीमाें के साथ एसओजी को लगाया गया है। कुछ संदिग्धों से पूछताछ की जा रही है। सीसीटीवी फुटेजों के आधार पर अभियुक्तों को चिह्नित किया जा रहा है। जल्द ही सभी अभियुक्त पुलिस की गिरफ्त में होंगे। – मणिकांत मिश्रा, एसएसपी ऊधमसिंह नगर
नामजद दिनेश के पैर में लगी है गोली

दोहरे हत्याकांड के मुख्य आरोपी दिनेश के पैर में गोली लगी है। बताया जा रहा है कि हत्याकांड के कुछ देर बाद वह नाटकीय ढंग से कोतवाली पहुंच गया था। पुलिस ने उससे पूछताछ की। उसका निजी अस्पताल में इलाज चल रहा है। दिनेश के पैर पर गोली लगने को कुछ लोग पेशबंदी के रूप में देख रहे हैं। तराई किसान संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष तजिंदर सिंह विर्क ने कहा कि एक पक्ष पूरी तैयारी के साथ कब्जा करने के लिए असलहों और वाहनों के साथ पहुंचा था। दूसरा पक्ष नींद से उठकर सीधे विरोध करने वहां पहुंरा। दो लोगों की हत्या करने के बाद एक हत्यारोपी के पैर में गोली लगना न सिर्फ संदेहजनक है, बल्कि लोमहर्षक कांड को पेशबंदी दिखाने की कोशिश हो रही है। एसएसपी मणिकांत मिश्रा ने बताया कि नामजद अभियुक्त दिनेश के पैर में गोली लगना संदेहजनक लग रहा है। टीम इसकी जांच कर रही है।


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