साहित्य लहर
साहित्य लहर श्रेणी के अन्तर्गत हिन्दी साहित्य (Hindi literature) और साहित्यकारों की रचनाओं का प्रकाशन किया जाता है। जिसमें कहानी (stories), कविता (poems), लघुकथा और ग़ज़लों (short stories & ghazals) का प्रकाशन होता है।
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देखो क्या जमाना आया है…?
सुनील कुमार माथुर देखों क्या जमाना आया हैं ? साहित्यकार समाज का प्रहरी कहलाता हैं समाज व राष्ट्र का शुभचिंतक…
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साहित्य चिंतन : कवि गोरख पांडेय का काव्य संसार
राजीव कुमार झा गोरख पांडेय को हिंदी में नक्सलवादी धारा का कवि कहा जाता है ! उनकी कविताओं में वर्तमान…
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सम्पूर्ण होकर भी अधूरी
प्रेम बजाज कहते हैं लोग नारी की सोच नर से है, कभी किसी ने सोचा है, नारी ने ही नर…
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मौसम की मुस्कान
राजीव कुमार झा जीवन रोज बदलता रहता मौसम सबके घर में आकर ऐसा कहता, बरसाती नदियों में पानी क्या सालों…
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सुख की ओर
मुकेश कुमार ऋषि वर्मा दुःख सहकर सुख की ओर चलना होगा, फूलों से अगर करनी है दोस्ती तो काॅंटों को…
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दुनिया रैन बसेरा है क्या तेरा क्या मेरा है
सुनील कुमार दुनिया रैन बसेरा है क्या तेरा क्या मेरा है असीमित इच्छाओं ने ऐसा जाल बिखेरा है कहीं खुशी…
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बाल कहानी : आदर्श संस्कार
सुनील कुमार माथुर रविवार का दिन था । सुनील , चेतन , नरेश , राजेंद्र व चांद मोहम्मद ने शास्त्री…
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तेरी दीवानी
प्रेम बजाज रखना यूं ही सदा इश्क की निशानी बना कर, मुझे अपने दिल की सुन्दर कहानी बना कर, प्यार…
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कविता : बेटियां
सुनील कुमार माथुर किसी साहित्य प्रेमी ने कितनी सुन्दर पंक्तियां लिखी हैं बेटियां दीये की तरह होती हैं शादी करके…
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क्या कभी ऐसा वक्त आएगा…?
प्रेम बजाज सच कहा है किसी ने मां का रिश्ता बिकता नहीं, सारे जहां में मां जैसा दूसरा कोई रिश्ता…
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