कला जीवन का अभिन्न अंग
सुनील कुमार माथुर
कला जीवन का अभिन्न अंग है । कला न केवल हमारा स्वच्छ व स्वस्थ मनोरंजन ही करती हैं अपितु चित्र के माध्यम से एक कुशल चित्रकार समाज को बहुत बडा संदेश दे देता हैं । चित्रकार अपने चित्र से जो संदेश देता है उसे शब्दों में अभिव्यक्त करे तो शायद शब्द ही कम पड जायें । ये उद्गार बाल चित्रकार निमित्त माथुर ने एक भेंट मे व्यक्त किये । निमित्त माथुर उदयपुर के मिकाडो किड्स स्कूल में पहली कक्षा का विधार्थी है।
माथुर ने कम आयु में ही बहुत कुछ सीखने का प्रयास किया हैं । यह अपनी धुन का धनी है । उसका कहना है कि हुनर मस्तिष्क से नहीं अपितु दिल से निकलता है और कोई भी काम जबरदस्ती नहीं बल्कि मन लगाकर करना चाहिए । तभी कार्य करने में आनंद आता है और कलाकार की कला उत्साह के साथ निखर कर बाहर आती हैं और उसका अवलोकन करने वाले का दिल जीत लेती हैं।
नगर निगम उदयपुर द्धारा कोरोना संक्रमण की रोकथाम एवं बचाव के लिए महामारी रेड एलर्ट जन अनुशासन पखवाडा में सरकार द्धारा जारी गाईड लाईन की पालना में घर बैठे रचनात्मक एवं सकारात्मक गतिविधियों की पोस्टर , कविता व डांस प्रतियोगिता में सहभागिता दिये जाने पर निगम आयुक्त ने मिकाडो किड्स स्कूल उदयपुर के छात्र निमित्त माथुर को तीन अलग-अलग प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया था।
इससे पहले माथुर स्कूल द्धारा आयोजित श्लोक प्रतियोगिता में प्रथम स्थान पर रहा । इससे पूर्व आयोजित गुड हैबिट्स व भजन कम्पीटिशन में माथुर प्रथम व द्वितीय स्थान पर रहे। माथुर ने रोज ब्रुश करो और हरे वृक्षों को न काटें । इन दो गुड हैबिट्स में प्रथम स्थान प्राप्त किया जबकि भजन कम्पीटिशन में माथुर दूसरे स्थान पर रहे।
छात्र निमित्त माथुर स्कूल की ओर से आयोजित विभिन्न गतिविधियों में समय समय पर भाग लेता रहता है व फैंसी ड्रेस , कविता पाठ , तैराकी व बजाज केपिटल द्धारा आयोजित ड्राइंग काम्पीटिशन 2019 में प्रथम बीस विधार्थियों में अपना स्थान बनाकर गोल्ड मेडल , सर्टिफिकेट व अन्य सामग्री प्राप्त कर स्कूल का गौरव बढाया।
¤ प्रकाशन परिचय ¤
From »सुनील कुमार माथुरलेखक एवं कविAddress »33, वर्धमान नगर, शोभावतो की ढाणी, खेमे का कुआ, पालरोड, जोधपुर (राजस्थान)Publisher »देवभूमि समाचार, देहरादून (उत्तराखण्ड) |
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