साहित्य लहर
सफल कौन और कैसे
सुनील कुमार
देख राह की बाधाएं हरगिज नहीं घबराता है
मन में रख दृढ़ विश्वास आगे बढ़ता जाता है
जीवन में वही सफल हो पाता है।
रहता नही जो भाग्य भरोसे
निज कर्म में विश्वास जताता है
आलस्य त्याग परिश्रम अपनाता है
जीवन में वही सफल हो पाता है।
समय श्रम और शक्ति सही दिशा में लगाता है
संकट की घड़ी में पांव पीछे नहीं हटाता है
जीवन में वही सफल हो पाता है।
दीन-हीन का बनकर बल
परहित बीड़ा उठाता है
भूले-भटकों को सदा सही राह दिखाता है
जीवन में वही सफल हो पाता है।
नामुमकिन को भी मुमकिन बनाता है
असफलताओं से कभी नही घबराता है
जीवन में वही सफल हो पाता है।
राष्ट्रहित जो सर्वस्य लुटाता है
मात-पिता के चरणों में शीश झुकाता है
जीवन में वही सफल हो पाता है।
जीते जी होता जिसका गुणगान
मर कर भी अमर हो जाता है
जीवन में वही सफल हो पाता है।
¤ प्रकाशन परिचय ¤
From »सुनील कुमारलेखक एवं कविAddress »ग्राम : फुटहा कुआं, निकट पुलिस लाइन, जिला : बहराइच, उत्तर प्रदेश | मो : 6388172360Publisher »देवभूमि समाचार, देहरादून (उत्तराखण्ड) |
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